Bjp के लिए नाराज फूफा साबित हो रहे हरक, हमेशा बोलते हैं “हम से किसीने पूछा ही नहीं, बोला ही नहीं”

Bjp के लिए नाराज फूफा साबित हो रहे हरक, हमेशा बोलते हैं “हम से किसीने पूछा ही नहीं, बोला ही नहीं”

देहरादून। भारतीय जनता पार्टी के लिए हरक सिंह रावत उस नाराज फूफा सरीखे हो गए हैं जो हिंदुस्तानी शादियों में हमेशा इसी बात से नाराज रहते हैं कि हमसे किसी ने पूछा ही नहीं या बोला ही नहीं।

जी हां, वैसे तो डॉ हरक सिंह रावत को उत्तराखंड की सियासत का माहिर माना जाता है लेकिन बीते एक साल से खासतौर से पिछले तीन महीनों से हरक सिंह रावत अपने बयानों को लेकर लगातार फजीहत करा रहे हैं।

कुछ समय पहले जहां उन्होंने रायपुर के विधायक उमेश शर्मा काऊ की आड़ में दिल्ली में पाला बदल की तैयारी कर ली थी लेकिन ऐन समय पर भाजपा डैमेज कंट्रोल में कामयाब हो गयी। उस वक़्त लगने लगा था कि कांग्रेसी गोत्र के तमाम विधायक और मंत्री वापसी करने जा रहे हैं लेकिन ये सब भाजपा को प्रेशर पॉलिटिक्स में लेना का हिस्सा था।

इसके बाद भी हरक सिंह यहीं नहीं रुके बल्कि कभी वे प्रीतम सिंह से मिले तो कभी अपने बयानों से पार्टी को असहज किया। एक वक्त ऐसा भी आया जब कांग्रेस में हरक एंड कंपनी की वापसी के सबसे बड़े रोड़ा यानि हरीश भी कुछ सुर बदलते दिखे लेकिन हरीश ने समय रहते अपनी प्लानिंग में बदलाव किया और हरक एंड कंपनी के लिए कांग्रेस में एंट्री फिर मुश्किल हो गयी।

हद तो अभी चंद दिन पहले हो गयी जब धामी कैबिनेट की देर रात चल रही बैठक से कैबिनेट मंत्री हरक सिंह यह कहते हुए बाहर निकल गए कि कोटद्वार मेडिकल कॉलेज समेत उनकी विधान सभा की अन्य समस्याओं पर सरकार गौर नहीं कर रही। इस दिन ऐसा प्रतीत हुआ कि ब तो 99 प्रतिशत हरक कांग्रेस में शामिल होने जा रहे हैं, लेकिन सुबह होने तक यह भी प्रेशर पॉलिटिक्स का हिस्सा निकला।

आपको यहां यह भी बता दें कि हरक सिंह लगातार भाजपा पर अपनी सीट बदलने और पुत्रवधु के लिए भी लैंसडाउन से टिकट मांग रहे हैं।

खैर, भाजपा भी लगातर उनकी इस टेक्टिक्स को भांप रही है। अब जबकि आचार सहिंता लग चुकी है और करो या मरो वाली स्थिति होने के बावजूद हरक सिंह की इच्छानुसार सीट तय नहीं हो पाई है टी बीते रोज एक बार फिर हरक सिंह अपने बयानों से चर्चा में आये।

बीते रोज जहां भाजपा मुख्यालय में पूरी भाजपा के आला नेता प्रीतम रोड पर बैठक में थे तो दिल्ली में जोड़ जुगाड़ में लगे नाराज फूफा यानि हरक यह कहते हुए सुनाई दिए कि बैठक में शामिल होने की सूचना उन्हें नहीं दी गयी।

सीनियर जर्नलिस्ट अमित ठाकुर जी की कलम से।

About The Singori Times

View all posts by The Singori Times →

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *